भोपाल. मध्यप्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के बीजेपी में शामिल होने की चर्चा पर विराम लगता नजर आ रहा है, कल तक राजनीतिक गलियारों में कमलनाथ के कांग्रेस पार्टी छोड़ने की बातें चल रही थी फिलहाल अभी इस बात पर आराम है. मध्य प्रदेश कांग्रेस के तमाम नेताओं का बयान सामने आया है, दिग्विजय सिंह से लेकर जीतू पटवारी तक सभी ने इन अटकलों को निराधार बताया है.
कमलनाथ के लिए उठ रहे बगावत के सूर
जैसे ही यह चर्चा हुई कि कमलनाथ परिवार समेत कांग्रेस छोड़कर बीजेपी में जा रहे हैं, तो बीजेपी से भी बगावत के सुर उठने लगे. सबसे पहले बीजेपी नेता तजिंदर पाल सिंह ने इन खबरों को फर्जी बताया, उन्होंने कहा कि 1984 के सिख विरोधी दंगों के आरोपी कमलनाथ के लिए बीजेपी में कोई जगह नहीं है, बीजेपी का शीर्ष नेतृत्व भी लोकसभा चुनाव से पहले कोई रिस्क लेना नहीं चाहेगा, कमलनाथ को एंट्री देने से पहले बीजेपी पंजाब और मध्य प्रदेश के चुनावी गणित का आकलन करेगी, पूरे नफा नुकसान को देखने के बाद ही कमलनाथ को बीजेपी में एंट्री मिल सकती है.

मध्य प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा – अभी मेरी कमलनाथ जी से बात हुई है, उन्होंने कहा कि जीतू मीडिया में जो ये बातें आ रही हैं ये भ्रम है, मैं कांग्रेसी था, हूं और रहूंगा…लोकतंत्र में हार जीत होती रहती है, हर परिस्थिति में उन्होंने दृढ़ता से कांग्रेस के विचार के साथ अपना जीवन जीया है और आगे भी कांग्रेस के विचार के साथ अंतिम सांस तक जीवन जीएंगे, ये उनकी खुद की भावना है जो उन्होंने मुझसे कहा है.
एक रिपोर्ट के मुताबिक 1975 में इंदिरा और संजय गांधी को कमलनाथ ने यह भरोसा दिलाया था कि उन की कोई महत्त्वाकांक्षा या स्वार्थ नहीं है, यह भरोसा अब भी वे दिला रहे हैं, इसी बात की दुहाई पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने भी कमलनाथ को दी, उन्होंने कहा कि कमलनाथ का चरित्र किसी भी दबाव में न आने वाला है, उन्होंने यह भी कहा कि मेरी उनसे फोन पर बात हुई है। जिन्होंने अपना राजनीतिक करियर नेहरू-गांधी परिवार के साथ शुरू किया था। आप उस व्यक्ति से सोनिया और इंदिरा गांधी के परिवार को छोड़ने की उम्मीद नहीं कर सकते हैं.