SAKTI NEWS
सक्ती। छत्तीसगढ़ के सक्ति जिले में सामाजिक द्वारा बहिष्कार किये गए 80 आदिवासी पीड़ित परिवारों ने लोकसभा चुनाव के बहिष्कार करने का ऐलान कर दिया है। इन्होंने अपने गांव में चुनाव बहिष्कार का पोस्टर भी लगा रखे है। गांव के इन 80 परिवारों में 2 दर्जन से अधिक विवाह योग्य युवक-युवतियां हैं, जिनकी शादी नहीं हुई है जिसके कारण इन युवाओं के परिजन आंसू बहाने को मजबूर हैं।
खबरों के मुताबिक समाज ने एक तुगलकी फरमान सुनाते हुए इन्हें समाज से बहिष्कृत कर दिया है, जिसके बाद से ये सभी आदिवासी परिवार समाज की मुख्यधारा से अलग रहने को मजबूर हैं।
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मिली जानकारी के मुताबिक छत्तीसगढ़ के सक्ति जिले के आमादहरा गांव के 80 आदिवासी परिवारों को उनके समाज से बहिष्कार करने का मामला सामने आया है। पिछले तीन वर्षों से बहिष्कार की पीड़ा झेल रहे इन परिवारों का जीवन समाज की मुख्यधारा से अलग हो गया है। इसके साथ ही इन आदिवासियों पर समाज के ठेकेदारों ने 23 लाख रुपये का जुर्माना भी लगा रखा है।
जुर्माने की रकम अदा न कर पाने की वजह से आज तक इन गरीब आदिवासी घरों में शादी, जन्म संस्कार और मृत्यु संस्कार जैसे कार्य भी नहीं हो पा रहे हैं। बताया जाता है कि अगर कोई भी व्यक्ति इन परिवारों का साथ देने या फिर संबंध जोड़ने की कोशिश करता है तो उसका भी सामाजिक बहिष्कार कर दिया जाता है और 3000 रुपये का जुर्माना भी लगा दिया जाता है।