रायपुर, 03 नवंबर। Rajyostav CG : नवा रायपुर के राज्योत्सव मैदान में चल रहे “छत्तीसगढ़ रजत महोत्सव 2025” में जनसंपर्क विभाग की भव्य डिजिटल प्रदर्शनी आकर्षण का मुख्य केंद्र बनी हुई है। राज्य स्थापना के रजत जयंती वर्ष के अवसर पर आयोजित इस प्रदर्शनी का उद्घाटन 01 नवंबर को देश के प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने किया था। उद्घाटन के बाद से प्रदर्शनी में लगातार बड़ी संख्या में लोग पहुंच रहे हैं।
प्रदर्शनी में आगंतुकों ने छत्तीसगढ़ की 25 वर्षों की विकास यात्रा को आधुनिक डिजिटल माध्यमों में देखकर अपनी उत्सुकता और गर्व व्यक्त किया। रायपुर के श्री उकेश्वर पटेल ने कहा, “राज्य की 25 वर्षों की यात्रा को इतनी आधुनिक और भावनात्मक प्रस्तुति में देखना गर्व की बात है। पूर्व प्रधानमंत्री भारत रत्न अटल बिहारी वाजपेयी जी से लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के 11 वर्षों तक की विकास गाथा को शानदार डिजिटल माध्यम में प्रस्तुत किया गया है।”
जनसंपर्क विभाग द्वारा तैयार यह प्रदर्शनी अत्याधुनिक तकनीकों पर आधारित है। इसमें वॉल्यूमेट्रिक और गतिशील एलईडी तकनीक, क्यूआर कोड आधारित जानकारी, डिजिटल कियोस्क और टच पॉइंट्स जैसी सुविधाओं के माध्यम से योजनाओं और उपलब्धियों की विस्तृत जानकारी दी जा रही है।
यहां प्रधानमंत्री मातृ वंदना योजना, प्रधानमंत्री आवास योजना, उज्ज्वला योजना, आयुष्मान भारत योजना, किसान सम्मान निधि और पर्यटन विकास जैसी योजनाओं को आकर्षक डिजिटल डिस्प्ले के माध्यम से प्रस्तुत किया गया है। बस्तर क्षेत्र की सामाजिक, सांस्कृतिक और आर्थिक यात्रा को 360-डिग्री प्रोजेक्शन और साउंड इफेक्ट्स के साथ दिखाया गया है।
बालोद जिले के दल्लीराजहरा से आए शंकर प्रसाद ने कहा, “प्रदर्शनी में हमारे क्षेत्र की नई पहचान देखकर बहुत खुशी हुई। विशेष रूप से भारत रत्न अटल जी के राज्य निर्माण में किए गए ऐतिहासिक योगदान को जिस तरह प्रदर्शित किया गया है, वह अत्यंत प्रेरणादायक है। ऑडियो हेडफोन के माध्यम से उनके ओजस्वी भाषणों को सुनना एक अविस्मरणीय अनुभव रहा।” कुशाभाऊ ठाकरे विश्वविद्यालय की छात्रा नम्रता महिलांग ने कहा, “डिजिटल वॉल और 360 डिग्री प्रोजेक्शन देखकर लगा जैसे हम इतिहास को जी रहे हों। बस्तर की यात्रा वाला सेक्शन बेहद प्रभावशाली था।”
राज्य के भविष्य की झलक दिखाते ‘डिजिटल छत्तीसगढ़ 2047’ सेक्शन ने आगंतुकों को विशेष रूप से आकर्षित किया। छात्रा गुलेश पाल ने कहा, “2047 तक विकसित और आत्मनिर्भर छत्तीसगढ़ की जो झलक यहां दिखाई गई है, वह सचमुच प्रेरणादायक है। यह प्रदर्शनी परंपरा और तकनीक का सुंदर संगम है।
