RAIPUR NEWS
रायपुर। राजधानी रायपुर से सटे अमलेश्वर में बुधवार सुबह एक दिल दहला देने वाली घटना सामने आई। मॉर्निंग वॉक के दौरान लोगों ने झाड़ियों के बीच एक 2 महीने की मासूम बच्ची को पड़ा हुआ देखा। बच्ची को एक थैले में कपड़ों में लपेटकर फेंका गया था।
रोने की आवाज सुनकर स्थानीय लोगों ने तुरंत पुलिस और आपातकालीन हेल्पलाइन 108 पर सूचना दी। मौके पर पहुंची 108 एंबुलेंस की टीम ने बच्ची को प्राथमिक उपचार देकर मेकाहारा अस्पताल में भर्ती कराया, जहां उसकी हालत गंभीर बताई जा रही है।
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झाड़ियों से आई रोने की आवाज, टहल रहे व्यक्ति ने देखी बच्ची
खबरों से मिली जानकारी के मुताबिक घटना बुधवार सुबह करीब 6 बजे की बताई जा रही है। ग्रीन अर्थ सिटी, अमलेश्वर के सामने डीह रोड पर मॉर्निंग वॉक कर रहे एम.एम. जैन को झाड़ियों के बीच से किसी के रोने की आवाज सुनाई दी। जब उन्होंने पास जाकर देखा, तो एक थैले में लिपटी नवजात बच्ची कराह रही थी।
उन्होंने तुरंत अपने साथियों को बुलाया और पुलिस को सूचना दी। सूचना मिलते ही 108 एंबुलेंस के पायलट रविंद्र कुमार और ईएमटी विनोद कुमार मौके पर पहुंचे। बच्ची का स्वास्थ्य खराब होने के कारण उसे तुरंत ऑक्सीजन सपोर्ट देकर मेकाहारा अस्पताल ले जाया गया। डॉक्टरों के अनुसार, बच्ची की हालत गंभीर है और उसका इलाज जारी है।
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पुलिस इस बात की जांच कर रही है कि बच्ची को यहां किसने और क्यों छोड़ा? जिसके तहत आसपास के इलाकों के सीसीटीवी फुटेज खंगाले जा रहे हैं, ताकि कोई सुराग मिल सके। यह मामला नवजात बच्चों को लावारिस छोड़ने की बढ़ती घटनाओं की ओर इशारा करता है, जिससे समाज में गंभीर चिंता पैदा हो रही है।
समाज को चाहिए जागरूकता
ऐसे मामलों को रोकने के लिए प्रशासन और समाज को मिलकर काम करना होगा। यदि किसी परिवार को बच्चा पालने में कठिनाई हो रही है, तो उनके लिए सरकार द्वारा चलाई जा रही योजनाओं की जानकारी दी जानी चाहिए, ताकि कोई भी इस तरह मासूम की जिंदगी खतरे में न डाले।