Mahakumbh 2025 Amrit Snan
प्रयागराज के पावन संगम तट पर महाकुंभ 2025 का तीसरा अमृत स्नान सोमवार, 3 फरवरी को बसंत पंचमी के शुभ अवसर पर बड़े ही धूमधाम और श्रद्धा के साथ शुरू हुआ। हर-हर महादेव के गगनभेदी जयघोष से गूंजता मेला क्षेत्र आध्यात्मिक ऊर्जा और आस्था से सराबोर हो उठा।
नागा साधुओं की भव्य शोभा यात्रा
अमृत स्नान का मुख्य आकर्षण रही नागा साधुओं की भव्य शोभा यात्रा। सिर पर भस्म, हाथों में त्रिशूल, तलवार और गदा लिए साधु-संत पारंपरिक परिधान और शंखध्वनि के साथ शोभा यात्रा में शामिल हुए। कई साधु रथों और घोड़ों पर सवार होकर जुलूस में आगे बढ़े, जिनका भव्य रूप श्रद्धालुओं के लिए आकर्षण का केंद्र रहा।
Mahakumbh 2025 Amrit Snan
संगम में पहली डुबकी
परंपरा के अनुसार, पंचायती निरंजनी अखाड़े के साधुओं ने सबसे पहले पवित्र संगम में डुबकी लगाई। इसके बाद महानिर्वाणी अखाड़ा, जूना अखाड़ा और किन्नर अखाड़ा ने स्नान किया। नागा साधुओं के स्नान के बाद अन्य 13 अखाड़ों ने भी बारी-बारी से संगम स्नान किया।
श्रद्धालुओं का अपार सैलाब
देश-विदेश से लाखों श्रद्धालु इस पावन अवसर पर संगम पहुंचे। प्रयागराज के हर गली और सड़क पर श्रद्धालुओं की भीड़ नजर आई। संगम तट पर श्रद्धालु साधुओं का आशीर्वाद लेने उमड़ पड़े और उनके चरणों की रज को अपने माथे पर लगाया।
सुरक्षा के कड़े इंतजाम
बढ़ती भीड़ को देखते हुए प्रशासन ने सुरक्षा के व्यापक इंतजाम किए हैं।
- 60,000 से अधिक पुलिसकर्मी तैनात
- 2,750 सीसीटीवी कैमरों से निगरानी
- लेटे हनुमान मंदिर के दर्शन अस्थायी रूप से बंद किए गए भीड़ नियंत्रण के लिए
- वन-वे ट्रैफिक प्लान: संगम क्षेत्र में यातायात को नियंत्रित करने के लिए वन-वे रूट लागू किया गया है।
- पांटून पुलों पर बैरिकेडिंग: भीड़ के दबाव को संतुलित करने के लिए पुलों पर विशेष बैरिकेडिंग की गई है।
- सीनियर अफसरों की तैनाती: भीड़ नियंत्रण के लिए वरिष्ठ अधिकारी मौके पर निगरानी रख रहे हैं।
- हेलिकॉप्टर से निगरानी: आयोजन स्थल पर ड्रोन और हेलिकॉप्टर के जरिए उच्च स्तरीय हवाई निगरानी की जा रही है।
Mahakumbh 2025 Amrit Snan
स्नान के विशेष समय का पालन
अखाड़ों के स्नान के लिए विशेष समय तय किया गया था:
- पंचायती निरंजनी अखाड़ा – सुबह 6:45 बजे
- जूना अखाड़ा और किन्नर अखाड़ा – सुबह 7:25 बजे
- श्री पंच निर्वाणी अनी अखाड़ा – 9:25 बजे
इसके बाद आम श्रद्धालुओं के लिए संगम स्नान का समय निर्धारित किया गया।
अब तक के आंकड़े:
- 16.58 लाख श्रद्धालुओं ने तड़के 4 बजे तक संगम में आस्था की डुबकी लगाई।
- महाकुंभ के 22वें दिन तक कुल 34.97 करोड़ लोग स्नान कर चुके हैं।
- अनुमान है कि बसंत पंचमी के इस विशेष स्नान पर 3 से 4 करोड़ श्रद्धालु संगम में डुबकी लगा सकते हैं।
Mahakumbh 2025 Amrit Snan
यातायात और सुविधा प्रबंध:
- भीड़ को संभालने के लिए अतिरिक्त ट्रेन और बस सेवाएं शुरू की गई हैं।
- रेलवे स्टेशन और बस अड्डों पर विशेष इंतजाम किए गए हैं ताकि यात्रियों को कोई असुविधा न हो।
- सभी मार्गों पर सुरक्षा कर्मियों की तैनाती और भीड़ को नियंत्रित करने के लिए बनाए गए नियंत्रण कक्ष सक्रिय हैं।
धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व
महाकुंभ का यह स्नान न केवल धार्मिक आस्था का प्रतीक है बल्कि भारतीय संस्कृति, आध्यात्मिकता और परंपराओं का भी जीवंत उदाहरण है। कहा जाता है कि इस दिन संगम में स्नान करने से अमृत तुल्य पुण्य प्राप्त होता है और सभी पापों का क्षय होता है।
महाकुंभ 2025 का यह तीसरा अमृत स्नान न केवल श्रद्धालुओं के लिए आस्था और भक्ति का केंद्र बना, बल्कि पूरे प्रयागराज को एक अद्भुत आध्यात्मिक ऊर्जा से भर गया।