MahaKumbh 2025
प्रयागराज। 144 वर्ष के बाद हो रहा यह दिव्य महाकुंभ केवल भारत का नहीं, बल्कि दुनियाभर के देशों के लिए आस्था का प्रतीक बन चुका है। बता दें कि 116 देशों के राजनयिक इस अद्वितीय आयोजन का हिस्सा बन कर, गंगा के पवित्र जल में स्नान करेंगे, और भारतीय संस्कृति की भव्यता को करीब से अनुभव करेंगे।
अरैल टेंट सिटी में इन विदेशी मेहमानों का पारंपरिक तरीके से स्वागत किया जाएगा, और राजनयिक सलामी के साथ उन्हें संगम घाट पर ले जाने के लिए विशेष क्रूज तैयार किया गया है। स्नान के बाद वे हनुमान मंदिर और अक्षयवट का दर्शन करेंगे और डिजिटल महाकुंभ सेंटर में इस आयोजन की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक गहराई को समझेंगे।
MahaKumbh 2025
दुनियाभर के राजनयिकों की उपस्थिति न केवल महाकुंभ की भव्यता को बढ़ा रही है, बल्कि इसे वैश्विक मंच पर भी नई पहचान दे रही है। अब तक 27.58 करोड़ श्रद्धालु यहां डुबकी लगा चुके हैं, और संगम तट पर आस्था का यह महासंगम जारी है।
सरकार और प्रशासन ने सुरक्षा और व्यवस्थाओं को अभूतपूर्व स्तर पर सुनिश्चित किया है, जिससे यह आयोजन सफल और सुव्यवस्थित तरीके से आगे बढ़ रहा है। महाकुंभ की यह अलौकिक यात्रा भारत की सांस्कृतिक विरासत का गौरव बढ़ाने का प्रतीक बन चुकी है। बता दें कि महाकुंभ 2025 का आयोजन प्रयागराज में 13 जनवरी से 26 फरवरी तक होगा।
इस महाकुंभ के दौरान कुल छह शाही स्नान हैं। महाकुंभ नगर में आयोजित इस विशेष आयोजन में 73 देशों से राजनयिकों का आना न केवल भारत के सांस्कृतिक और आध्यात्मिक महत्व को दर्शाता है, बल्कि वैश्विक स्तर पर इस आयोजन की प्रतिष्ठा को भी उजागर करता है। यह कार्यक्रम दुनिया भर के देशों के बीच भारत के सांस्कृतिक संबंधों को मजबूत करने का अवसर प्रदान करेगा।
MahaKumbh 2025
जिन देशों के राजनयिक महाकुंभ में आ रहे हैं, उनमें जापान, अमेरिका, रूस, यूक्रेन बांग्लादेश, जर्मनी के साथ ही आर्मेनिया स्लोवेनिया, हंगरी, बेलारूस, सेशल्स, मंगोलिया, कजाकिस्तान ऑस्ट्रिया, पेरु, ग्वाटेमाला, मैक्सिको, अल्जीरिया, दक्षिण अफ्रीका, अलसल्वाडोर, चेक रिपब्लिक, बुल्गारिया, जॉर्डन, जमैका, इरिट्रिया, फिनलैंड, ट्यूनीशिया, फ्रांस, एस्टोनिया, ब्राजील, सूरीनाम, जिंबॉब्वे,
मलेशिया, माल्टा, भूटान, लेसोथो, स्लोवॉक, न्यूजीलैंड, कंबोडिया, किरगिज, चिली, साइप्रस, क्यूबा, नेपाल, रोमानिया, वेनेजुएला, अंगोला, गुयाना, फिजी, कोलंबिया, सीरिया, गिनी, म्यांमार, सोमालिया, इटली, बोत्सवाना, परागुआ, आईसलैंड, लातविया, नीदरलैंड, कैमरून, कनाडा, स्विट्जरलैंड, स्वीडन, थाईलैंड, पोलैंड, बोलिविया शामिल हैं।