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International Trade Fair में छत्तीसगढ़ की धाक…हस्तशिल्प, वनोपज और पारंपरिक कला ने जीता देश-विदेश का दिल

Chhattisgarh's dominance in the International Trade Fair... Handicrafts, forest produce and traditional art won the hearts of people from India and abroad

Chhattisgarh's dominance in the International Trade Fair... Handicrafts, forest produce and traditional art won the hearts of people from India and abroad

नई दिल्ली/रायपुर, 25 नवंबर। International Trade Fair : भारत मंडपम, नई दिल्ली में आयोजित अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में आज छत्तीसगढ़ पेवेलियन उत्सुक दर्शकों और खरीदारों का केंद्र बना रहा। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने पेवेलियन का अवलोकन कर छत्तीसगढ़ की पारंपरिक कला, वनोपज उत्पादों, हस्तशिल्प और उद्यमियों द्वारा प्रस्तुत नवाचारों की सराहना की।

मुख्यमंत्री साय ने कहा कि छत्तीसगढ़ के स्वदेशी उत्पाद वैश्विक बाजार में तेजी से अपनी पहचान मजबूत कर रहे हैं। उन्होंने कहा—“कोसा सिल्क, ढोकरा कला, धातु शिल्प, मिलेट-आधारित उत्पाद और वनोपज से निर्मित वस्तुएँ देश-विदेश के खरीदारों का ध्यान आकर्षित कर रही हैं। यह ‘आत्मनिर्भर छत्तीसगढ़’ की दिशा में बड़ा कदम है और स्थानीय कारीगरों, लघु उद्यमियों एवं जनजातीय समुदायों के लिए नए आर्थिक अवसर खोल रहा है।”

छत्तीसगढ़ पेवेलियन में प्रदर्शित परंपरागत और आधुनिक उत्पादों की विविधता दर्शकों के लिए आकर्षण का मुख्य केंद्र रही। विशेष रूप से बस्तर की कला एवं समृद्ध सांस्कृतिक विरासत को प्रदर्शित करने वाले स्टॉलों ने आगंतुकों को प्रभावित किया।

मुख्यमंत्री ने पेवेलियन में प्रदर्शित डॉक्यूमेंट्री ‘बदलता बस्तर (आमचो बस्तर)’ का अवलोकन कर कहा कि यह फिल्म बस्तर में हुए सकारात्मक बदलाव और विकास को अत्यंत प्रभावी रूप से प्रस्तुत करती है। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार कारीगरों, वन उत्पाद संग्रहकर्ताओं और ग्रामीण उद्यमों को राष्ट्रीय-अंतरराष्ट्रीय मंचों तक पहुँचाने के लिए सतत प्रयासरत है। इस अवसर पर उद्योग मंत्री लखन लाल देवांगन, सांसद बृजमोहन अग्रवाल, कमलेश जांगड़े सहित अनेक जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी उपस्थित रहे।

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