Cyclone Remal
पश्चिम बंगाल। बंगाल के खाड़ी के ऊपर बना रहा गहरा दबाव अब चक्रवर्ती तूफान ‘रेमल’में बदल गया है। मौसम विभाग ने शनिवार को बताया कि चक्रवर्ती तूफान 110-120 किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से तट से टकरा सकता हैं। ऐसे में टक्कर के दौरान समुद्र में 1.5 मीटर ऊंची लहरे उठने की आशंका जताई जा रही है।
रेमल तूफान से पश्चिम बंगाल, उड़ीसा, मिजोरम समेत बिहार तक बारिश होने की संभावना हैं। चक्रवाती तूफान को ध्यान में रखते हुए राज्य प्रशासन ने तैयारियां तेज कर दी है और केंद्र सरकार पर भी इसपर नजर बनाए हुए है। चक्रवाती तूफान के मद्देनजर कंट्रोल रूम तैयार कर जरूरी दवाओं समेत अन्य चीजों का भंडारण किया गया है।
साथ ही मछुआरों को नसीहत दी गई है कि वे तुरंद समुंद्र से लौटें और 27 मई तक समुद्र में न जाएं। मौसम विभाग ने कोलकाता, हावड़ा, नादिया और पूर्व मेदिनीपुर जिलों में रेड और ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।
Cyclone Remal
एनडीआरएफ की 12 टीमों के अलावा पांच अतिरिक्त टीमों को चक्रवाती तूफान को देखते हुए तैयार किया गया है। साथ ही सेना, नौसेना और कोस्ट गार्ड्स को भी बचाव और राहत टीमों को तैयार किया गया है। इस बीच कोलकाता और पारादीप के बंदरगाहों पर नियमित अलर्ट के साथ सलाह जारी किया गया है।
मौसम विभाग के जानकारी के मुताबिक जब चक्रवाती तूफान तट से टकराएगा, उस दौरान हवा की रफ्तार 110 से 120 किमी प्रतिघंटा की रफ्तार रहने की आशंका जताई गई है। चक्रवाती तूफान रेमल के मद्देनजर रविवार दोपहर से 21 घंटे के लिए कोलकाता हवाई अड्डे से उड़ानों को पूरी तरह से निलंबित कर दिया गया है। अधिकारियों ने इस दौरान कहा कि चक्रवाती तूफान को देखते हुए 26 मई की दोपहर 12 बजे से 27 मई की सुबह 9 बजे तक उड़ानों को निलंबित कर दिया गया है।