CHHATTISGARH NEWS
रायपुर। स्कूल शिक्षा विभाग में मनमानी पदस्थापना और प्रभारवाद का खेल अनवरत जारी है। इस खेल में प्राचार्य पास हो रहे हैं और उप संचालक स्तर के अधिकारी फेल साबित हो रहे हैं।कई जिलों में प्राचार्यों को जिला शिक्षा अधिकारी (डीईओ) का प्रभार दिया गया है, जबकि उप संचालक स्तर के अधिकारी उपेक्षित हैं।
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कुछ जिलों में तो ऐसे भी मामले सामने आए हैं जहां प्राचार्यों को डीईओ का प्रभार देने के लिए उप संचालक स्तर के अधिकारियों को उनके पद से हटा दिया गया है ,यह सब तब हो रहा है जब विभाग ने स्पष्ट निर्देश दिए हैं कि डीईओ का पद केवल उप संचालक स्तर के अधिकारियों को ही दिया जाएगा।
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विभाग के अधिकारियों का कहना:
विभाग के अधिकारियों का कहना है कि यह सब इसलिए किया जा रहा है क्योंकि प्राचार्यों को शिक्षा के क्षेत्र में अधिक अनुभव होता है।हालांकि, उप संचालक स्तर के अधिकारियों का कहना है कि यह उनके साथ अन्याय है।शिक्षा के क्षेत्र के विशेषज्ञों का कहना है कि यह विभाग की गलत नीति है।
उनका कहना है कि डीईओ का पद केवल उप संचालक स्तर के अधिकारियों को ही दिया जाना चाहिए। यह स्पष्ट है कि स्कूल शिक्षा विभाग में मनमानी पदस्थापना और प्रभारवाद का खेल जारी है। यह खेल विभाग के अधिकारियों और शिक्षकों के बीच मनमुटाव का कारण बन रहा है। विभाग को इस मामले में तुरंत कार्रवाई करनी चाहिए।
इस मामले में कई शिक्षक संगठनों ने भी विरोध प्रदर्शन किया है।शिक्षक संगठनों ने मांग की है कि विभाग मनमानी पदस्थापना और प्रभारवाद पर रोक लगाए।